पति ने मांगा पानी और मुर्गा के लिए पैसा फिर पत्नी ने दी इतनी खौफनाक सजा की.... आपकी रूह कांप उठेगी


क्राइम न्यूज। कहते है पति - पत्नी का रिश्ता सात जन्मों का होता है।परंतु वर्तमान समय में ये सभी बाते सिर्फ कहावतें बन कर रही गई है। इस संबंध में आनेवाली कटुता और एक दूसरे की हत्या की घटना समाज को विचलित कर रही है।ऐसा ही एक घटना का वीडियो वायरल हो रहा हैं जिसे देख कर आपकी रूह कांप जाएगी।

हैवानियत के बाद पत्नी ने पुलिस को कहा

पति की हत्या के वावजूद पत्नी पर इस कदर हैवानियत छाई थी की पति की फटी खोपड़ी में हाथ डालते हुए पत्नी गायत्री थाना प्रभारी रोहित सिंह को देखकर बोली, भैया... इसे जलवा देना, ठीक है। इसके बाद मुझे भी जलवा देना। इसके बाद रोहित ने तुरंत ही अधिकारियों को सूचना देने के बाद रोजा इंस्पेक्टर राजीव वर्मा को फोन किया। रोजा पुलिस ने आरोपी महिला को हिरासत में ले लिया। पुलिस की गिरफ्त में उसके चेहरे पर पछतावे के कोई भाव नहीं थे। घटना इतनी विभत्स है की HPBL अपनी जिम्मेदारी समझते हुए video आपको नहीं दिखा सकते।घटनाआपको विचलित कर सकती है।

क्या है मामला

UP के शाहजहांपुर में दिल दहलाने वाली वारदात हुई है। विवाद के बाद घर के दरवाजे पर पत्नी ने पति का सिर ईंट से कुचल दिया। सीने पर बैठकर हाथों से सिर फाड़ने के बाद मांस के लोथड़े फेंकने शुरू कर दिए। रोजा थाना क्षेत्र के हथौड़ा बुजुर्ग में सत्यपाल (40) पत्नी गायत्री देवी, बेटे रोहित, बेटी डॉली के साथ रहते थे।

गुरुवार दोपहर करीब ढाई बजे सत्यपाल का किसी बात को लेकर गायत्री से झगड़ा होने लगा। गुस्से में आई गायत्री ने ईंट उठाकर सत्यपाल के सिर पर मारनी शुरू कर दी। वह नीचे गिर गया तो सीने पर बैठकर लगातार ईंट मारती रही। सिर फटने पर हाथ से मांस के लोथड़े फेंकने शुरू कर दिए।महिला का कृत्य देखकर आसपास के लोग दूर से वीडियो बनाते रहे लेकिन पास जाने की हिम्मत नहीं जुटा पाए।

दस मिनट तक करती रही बर्बरता

उसकी खोपड़ी को फोड़ने के बाद दो भागों में बांटकर दस मिनट तक हाथ डालकर अंदर से नसें आदि निकालकर फेंकती रही। वीभत्स घटना को देखकर लोग कांप गए। उसके पास जाने की हिम्मत भी नहीं जुटा सके। गुरुवार को करीब दो बजे सत्यपाल समोसे लेकर अपने घर गया था। अंदर जाने पर गायत्री ने कुछ कह दिया। दोनों में विवाद होने के बाद सत्यपाल ने डंडा मार दिया। डंडा लगते ही गायत्री भड़क गई। उसने अलमारी में रखे हंसिया को उठाया और मारने के लिए झपट पड़ी।

दहशत में आ गया था सत्यपाल

दहशत में आए सत्यपाल ने बाहर की ओर दौड़ लगा दी। गैलरी में पत्नी ने उसे धक्का देकर गिरा दिया। छीना-झपटी में उसके हाथ से हंसिया छिटक गया। दंपती में विवाद होने पर लोगों की भीड़ लग गई। तभी गायत्री ने सत्यपाल के सीने बैठकर वहीं पड़ी ईंट से सिर पर वार कर दिया। एक वार होते ही वह अचेत हो गया। बताते हैं कि दूसरी ईंट से वार करने के बाद सिर फट गया और उसकी मौत हो गई।

आसपास के ग्रामीण बचाने की नही कर पाए हिम्मत

तभी वहां से गुजर रहे सेहरामऊ दक्षिणी थाने के प्रभारी रोहित सिंह ने भीड़ लगी देखकर अपनी गाड़ी को रुकवा लिया। उन्होंने वीभत्स घटना देखी तो वह सन्न रह गए। वह महिला के पास गए। उसे रोकने के लिए भीड़ में खड़ी महिलाओं को बुलाया, पर कोई आने को तैयार नहीं हुई। गायत्री को बमुश्किल खुद ही हटाया। वह बोली कि मार दिया, बहुत तंग करता था।

मुर्गा खाने के लिए 300 रुपये मांग रहा था

हिरासत में लेने के बाद पुलिस की पूछताछ में गायत्री ने बताया कि उसका पति सत्यपाल शराब पीकर अक्सर उसे मारता-पीटता था। कमरे में बंद कर देता था। कभी रुपये भी नहीं देता था। इससे वह बहुत परेशान थी। लगातार मारपीट किए जाने से वह कुंठित हो गई थी। आज मुर्गा खाने के लिए 300 रुपये मांग रहा था।

उसके पास रुपये नहीं थे। उसने कहा तो वह नहीं माना। रुपये मांगते हुए पीटने लगा। इसी वजह से उसने हत्या कर दी। पुलिस ने पूछा कि मारने के बाद उसे नोचते क्यों रही तो उसने कहा कि उसके अंदर इतना गुस्सा भर गया था कि उसने ऐसा कृत्य किया।

जिसने देखा दहलाने वाला दृश्य... कांप उठा

दोपहर करीब तीन बजे हथौड़ा से रोजा की ओर जाने वाले मुख्य मार्ग के किनारे बने मकान के सामने का दृश्य जिसने देखा, कांप उठा। सड़क पर हर समय काफी भीड़भाड़ रहती है। मकान के बाहर बने चबूतरे पर सत्यपाल के सीने पर बैठी गायत्री उसके फटे सिर में हाथ डालकर बैठी थी।

इस दौरान छुट्टी होने पर कई स्कूली बच्चे भी गुजर रहे थे, वे भी रुककर देखने लगे। आसपास के लोगों ने उन्हें वहां से हटाया। नजारा इतना खौफनाक था कि लोगों की रूह कांप गई। गाड़ियां रोककर लोग सबकुछ देखते रहे लेकिन किसी की हिम्मत नहीं पड़ रही थी कि वह महिला के पास जा सके।

आर्थिक तंगी और शराब पीने की आदत से होते थे झगड़े

सत्यपाल शराब पीने का आदी था। वह जो कुछ कमाता था, शराब में उड़ा देता था। वह पत्नी गायत्री को रुपये नहीं देता था। कई बार उसकी मां शकुंतला घर में खाना भेजती थी। दंपती में रोज होने वाले झगड़ों के कारण आसपास के लोग भी परेशान थे। आसपास के कुछ लोगों ने कहा कि अक्सर झगड़ा होने के कारण वे लोग बीच में नहीं पड़ते थे। लेकिन ऐसा कुछ हो जाएगा, इसका अंदाजा भी नहीं था।

बच्चे बचपन से ही दादी के पास रह रहे थे। पिता की मौत और मां के जेल जाने से रोहित और दीप्ति काफी गम और दहशत में हैं। वे कुछ बोलने की स्थिति में नहीं थे। भाई अवनीश ने बताया कि पहले भी गायत्री हमला कर चुकी है। एक बार हंसिये से सत्यपाल पर हमला किया था। तब उसने ही बचाया था।

तीन भाइयों में सबसे बड़ा था सत्यपाल

सत्यपाल अपने तीन भाइयों में सबसे बड़ा था। भाई नितीश ने तीन साल पहले पत्नी से झगड़ा होने पर फंदे से लटककर जान दे दी। सत्यपाल के पिता हरिराम ने भी आत्महत्या की थी। इकलौता बचा भाई अविनाश इस वारदात के बाद काफी दहशत में है।

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