24 साल में 14वीं बार मुख्यमंत्री का शपथ, शिबू सोरेन रहे सबसे अनलकी, रघुवर दास के नाम दर्ज है रिकॉर्ड

Champai Soren Resign: चंपाई सोरेन ने इस्तीफा दे दिया। हालांकि बतौर मुख्यमंत्री उनका कार्यकाल सिर्फ 152 दिनों का रहा, लेकिन एक मायने में शिबू सोरेन से आगे हो गये। शिबू सोरेन महज 12 दिन मुख्यमंत्री रहे थे, उसके बाद उन्हें इस्तीफा देना पड़ा था। झारखंड गठन के 24 साल में हेमंत सोरेन अब 14वें मुख्यमंत्री के रूप में शपथ लेंगे। झारखंड में अबतक 12 मुख्यमंत्री शपथ ले चुके हैं। लेकिन विडंबना ये है कि रघुवर दास को छोड़कर झारखंड में कोई भी मुख्यमंत्री ने अपना कार्यकाल पूरा नहीं कर सका है। राज्य में हमेशा से सत्ता परिवर्तन का दौर रहा है।

आइये बताते हैं अब तक झारखंड का राजनीतिक सफर कैसा रहा है। झारखंड बनने के बाद 15 नवंबर 2000 को बाबूलाल मरांडी झारखंड के पहले मुख्यमंत्री बने थे। लेकिन वो कार्यकाल के पहले ही हटा दिये गये। ढाई साल बाद 18 मार्च को अर्जुन मुंडा को मुख्यमंत्री बनाया गया। वो लगभग दो साल तक मुख्यमंत्री रहे। फिर शिबू सोरेन ने सत्ता की कमान संभाली, लेकिन वो सिर्फ 12 दिन ही सत्ता संभाल पाये थे, कि उन्हें इस्तीफा देना पड़ गया।

उसके बाद 12 मार्च 2005 को फिर से अर्जुन मुंडा लगभग डेढ़ साल के लिए मुख्यमंत्री बने। उसके बाद झारखंड की राजनीति ने फिर से करवट ली। देश के इतिहास में पहली बार किसी निर्दलीय ने मुख्यमंत्री पद की शपथ ली। 18 सिंतबर को निर्दलीय विधायक मधु कोड़ा को गठबंधन ने मुख्यमंत्री चुना गया। वो करीब दो साल मुख्यमंत्री रहे।

शिबू सोरेन मुख्यमंत्री के रूप में रहे अनलकी

पहली बार सिर्फ 12 दिन के लिए शिबू सोरेन मुख्यमंत्री बने, तो दूसरा कार्यकाल भी उनका सिर्फ 6 महीने का रहा। अगस्त 2008 में वो दोबारा मुख्यमंत्री बने, लेकिन फिर उन्हें इस्तीफा देना पड़ गया। 19 जनवरी 2009 को झारखंड में राष्ट्रपति शासन लगा। फिर राष्ट्रपति शासन हटा, तो 30 दिसंबर 2009 को तीसरी बार शिबू सोरेन मुख्यमंत्री बने, लेकिन वो समय भी सिर्फ छह महीने का रहा। जून 2010 को दूसरी बार राष्ट्रपति शासन लगा। 11 सितंबर 2010 को अर्जुन मुंडा तीसरी बार मुख्यमंत्री बने, लेकिन उन्हें लगभग ढ़ाई वर्ष में मुख्यमंत्री का पद छोड़ना पड़ा।

24 साल में 13 मुख्यमंत्री, रघुवर ने बनाया रिकार्ड

18 जनवरी 2013 को तीसरी बार राज्य में राष्ट्रपति शासन लगा. इसके बाद 13 जुलाई 2013 को हेमंत सोरेन पहली बार मुख्यमंत्री बने, लेकिन इनका कार्यकाल भी डेढ़ साल का ही रहा। 2014 में भाजपा सत्ता में आयी। सभी चौकाते हुए रघुबर दास मुख्यमंत्री बने। रघुबर दास 5 साल मुख्यमंत्री रहे, लेकिन मुख्यमंत्री रहते ही चुनाव लड़नेके दौरान वो हार भी गये। 2019 के चुनाव में झामुमो, कांग्रेस और राजद गठबंधन की सरकार ने सरकार बनायी। 29 दिसंबर 2019 को हेमंत सोरेन दूसरी बार मुख्यमंत्री बने। लेकिन, 31 जनवरी को इस्तीफा सौंपना पड़ा। हेमंत सोरेन के इस्तीफा देने के बाद चंपाई सोरेन को नया मुख्यमंत्री बनाया गया। चंपाई सोरेन ने 2 फरवरी 2024 को 12वें मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ली, लेकिन हेमंत सोरेन के जेल से बाहर आने के बाद 3 जुलाई को उन्हें अपने पद से इस्तीफा देना पड़ा।

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