CM हेमंत की दो टूक: "पेंशन अटका तो, अफसरों के वेतन भी रूकेंगे, नौकरी भी जायेगी" नियोजन नीति को लेकर कही ये बात ...

रांची। वृद्धावस्था व जरूरतमंदों का पेंशन अटका तो अफसरों की वेतन भी रूकेंगे और नौकरी भी जायेगी। मुख्यमंत्री ने अफसरों को कड़ा संदेश दे दिया है। मुख्यमंत्री ने आपकी योजना-आपकी सरकार - आपके द्वार कार्यक्रम में गुमला और लोहरदगा में ₹1 हजार 60 करोड़ की योजनाओं का उद्घाटन एवं शिलान्यास किया।

इस दौरान अपने संबोधन में मुख्यमंत्री ने कहा कि सभी प्रखण्ड विकास पदाधिकारी और अंचल अधिकारी को भी आदेश दिया जा चुका है कि अगर किसी वृद्ध और जरूरतमंद का पेंशन स्वीकृत नहीं हुआ तो उनकी तनख्वाह भी रुकेगी और नौकरी भी रुकेगी।

मुख्यमंत्री ने भाजपा पर जमकर हमला बोला। हेमंत सोरेन ने कहा कि हमारी सरकार झारखण्डी युवा हितैषी नियोजन नीति बनाते हैं तो विपक्ष के लोग कोर्ट में चुनौती देकर असंवैधानिक घोषित करा देते हैं। यही कानून जब उनके राज्य में बनता है तो वह संवैधानिक घोषित हो जाता है। वर्षों से इन लोगों ने आदिवासी, दलित, पिछड़ो और अल्पसंख्यकों का शोषण किया है। लोकतंत्र में जो सरकार बनती है उसे जनता चुनती है, लेकिन विपक्षियों को आपसे मतलब नहीं है।

किसी और की सरकार बने तो ये पूरी सरकार खरीद लेते हैं। ये लोग तो मेरे विधायकों के पीछे भी पड़े हुए हैं लेकिन हम लोग उन लोगों में से नहीं जो पैसे में बिकते हों। हम लोग भगवान बिरसा मुंडा के वंशज है और सामने से जीत कर आगे बढ़ते हैं।


आपकी योजना, आपके द्वार आकर आपका दरवाजा खटखटा रहा है। इस अवसर का आप सभी लाभ उठाइए और सरकार की योजनाओं से जुड़कर उसका लाभ लीजिए। आपसे आग्रह है बिचौलियों के चक्कर में ना पड़े।

उन्होंने कहा कि जब आपकी सरकार बनी, उस समय मैंने कहा था यह गांव की सरकार है, यह झारखंडियों की सरकार है। आज गांव-गांव, टोला-टोला शिविर लगाकर पदाधिकारी आपकी समस्याओं का समाधान के लिए बैठे हैं। आपकी समस्याओं की गठरी बनाकर लाते हैं और हमलोग मिलकर आपकी समस्याओं का समाधान करते हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि झारखंडी बहनों की संयम की परीक्षा लेना भाजपा बंद करे ।

हमारे महान पूर्वजों ने इस राज्य के लिए कुर्बानी दी ताकि यहां के आदिवासी-मूलवासी हमेशा सुरक्षित रहें। अलग राज्य तो मिला लेकिन जो लोग इस राज्य को लूटने वाले थे वही सत्ता में बैठ गए। राज्य गठन के बाद 20 वर्ष तक उन लोगों ने ही राज किया। इसका परिणाम हुआ कि लोग भूख से मरने लगे।

पूर्व की डबल इंजन सरकार में आम दिनों में लोग हाथ में राशन कार्ड लेकर भूख से मरे। हमने लाखों लोगों को हरा राशन कार्ड से जोड़ने का काम किया। हमें सरकारी राशन दुकान से राशन खरीदने नहीं दिया जाता था। यह कार्य सिर्फ हमारी योजनाओं को प्रभावित करने के लिए किया जाता है। कई बार लोगों की शिकायत आयी कि हरा राशन कार्ड से अनाज नहीं मिल रहा है, इसका कारण यही था कि ये हमें सरकारी दुकान से राशन खरीदने नहीं देते थे तो हमें बाजार से खरीदना पड़ता था, जिससे वितरण में थोड़ा विलंब होता था।

अब राज्य में 18-20 साल की बहन-बेटियां भी मंईयां सम्मान योजना के तहत फार्म भर सकती हैं। यह कानून में आते ही आपको सम्मान राशि भी प्राप्त हो जाएगी। आपका यह भाई, आपके साथ है, आपकी हर तकलीफ को दूर करने के लिए। जितना आप लोगों के लिए मैं काम करता हूँ, तो हमारे विपक्षी उतना ही मेरे पीछे काटने को दौड़ते हैं। जब वह मुझे काट नहीं सके तो मुझे जेल में डाल दिया। यह तो आपका आशीर्वाद था, यहां के बुजुर्गों का आशीर्वाद था कि मैं फिर से आपके बीच आकर खड़ा हूँ।

सम्मान योजना हमने शुरू किया और इन लोगों ने कोर्ट में जाकर मामला दायर कर दिया। इधर का ही कोई व्यक्ति है, ये भाजपा के लोग हैं ताकि आपको इस योजना के लाभ से वंचित किया जा सके। आप ऐसे लोगों को पहचान लें। अभी चुनाव आने वाला है, ऐसे लोगों को गांव में घुसने नहीं देना है। हमारी योजना को प्रभावित करने के लिए अलग-अलग उपाय ये विपक्ष के लोग निकालते रहते हैं।

Aditya
Aditya  
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