One Rank-One Pension: 15 मार्च तक सब पेंशनर्स का बकाया चुकाइए- केंद्र को सुप्रीम कोर्ट का आदेश

नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट ने वन रैंक वन पेंशन (OROP) मामले में आज सुनवाई की। इस दौरान केंद्र से जल्द से जल्द पेंशन का एरियर देने के लिए कहा गया। इसके लिए कोर्ट ने सरकार को 15 मार्च, 2023 तक का समय दिया है। सुनवाई के दौरान अदालत ने कहा कि पेंशनधारी किसी बात से नाखुश हैं तो बता दें।
भारतीय पूर्व सैनिक आंदोलन ने कोर्ट में याचिका दाखिल की है। सुनवाई के दौरान केंद्र सरकार ने कहा कि कंट्रोलर ऑफ डिफेंस अकाउंट्स इलाहाबाद ने लगभग 25 लाख पेंशनरों की लिस्ट बनाई है, जो रक्षा मंत्रालय के पास भेजी गई है। कोर्ट ने कहा कि 15 मार्च, 2023 तक प्रक्रिया पूरी करें और यदि कोई मुद्दा हो तो हमारे पास वापस आएं।
इस पर अटॉर्नी जनरल आर वेंकटरमणि ने कहा- मैं व्यक्तिगत रूप से मामले की निगरानी रख रहा हूं। अभी फाइल रक्षा मंत्रालय के फाइनेंस सेक्शन के पास है। जल्द भुगतान किया जाएगा।
क्या है वन रैंक वन पेंशन
वन रैंक वन पेंशन (OROP) का मतलब समान रैंक और समान अवधि की सेवा के लिए समान पेंशन है। इसमें सेवानिवृत्ति की तारीख के कोई मायने नहीं रह जाते यानी अगर किसी अधिकारी ने 1985 से 2000 तक 15 साल सशस्त्र बलों में सेवा दी और एक अन्य अफसर 1995 से 2010 तक सेवा में रहे, तो दोनों को समान पेंशन मिलेगी। इससे 25 लाख पूर्व सैनिकों को फायदा होगा।
1 जुलाई, 2019 से लागू किया जाएगा जानकारी के अनुसार, एक जुलाई 2014 के बाद सेवानिवृत्त हुए सैनिकों को मिलाकर लाभार्थियों की संख्या 25 लाख पार हो चुकी है। इससे सरकार पर 8,450 करोड़ रु. का अतिरिक्त भार पड़ेगा। संशोधन के बाद पेंशन योजना को जुलाई 2019 से जून 2022 तक का एरियर या बकाया भी दिया जाएगा। यानी कुल 23,638.07 करोड़ रुपए दिया जाएगा। एरियर का भुगतान चार छमाही किश्तों में किया जाएगा। इसका लाभ सभी डिफेंस फोर्सेस से रिटायर होने वाले और परिवार पेंशनधारकों को मिलेगा।